क्या महिला और पुरुष में अलग-अलग होते हैं हार्ट अटैक के लक्षण, जानें किसे ज्यादा खतरा?
दुनियाभर में हार्ट की बीमारियों का खतरा बढ़ रहा है। यह एक जानलेवा बीमारी है। इससे पुरुष और महिलाएं दोनों प्रभावित हैं. हेल्थ एक्सपर्ट ने पाया है कि कोरोना के बाद दिल से जुड़ी बीमारियां और भी गंभीर हुई हैं। इसके अलावा फिजिकल एक्टिविटी न होना, खानपान में गड़बड़ी, स्ट्रेस का बढऩा हार्ट की दिक्कतें बढ़ा सकती हैं। इससे भी बड़ी चिंता की बात यह है कि महिलाओं और पुरुषों में इसके लक्षणों में भी अंतर देखा गया है। कुछ अध्ययनों में पाया गया है कि पुरुषों की तुलना में महिलाओं में हार्ट अटैक ज्यादा खतरनाक और जानलेवा हो सकता है। समय पर इलाज न हो पाना इस खतरे का सबसे बड़ा कारण माना जाता है। आइए जानते हैं महिलाओं और पुरुषों में हार्ट अटैक के मामले किस तरह अलग हो सकते हैं और इनका क्या इलाज है…
पुरुषों-महिलाओं में हार्ट अटैक के अलग-अलग लक्षण
कोलंबिया के जॉन्स हॉपकिन्स में मेडिकल डायरेक्टर डॉ. लिली बारोच का कहना है कि महिलाओं में हार्ट अटैक का खतरा ज्यादा होता है। सीने में दर्द-जकडऩ और सांस की परेशानी पुरुष और महिलाओं दोनों में देखने को मिलती है। इसके कुछ लक्षण भी अलग-अलग देखने को मिले हैं।
क्या महिलाओं में हार्ट अटैक जानलेवा
अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन की रिपोर्ट के मुताबिक, हार्ट अटैक के एक साल के अंतर पुरुषों की तुलना में महिलाओं की जान का खतरा ज्यादा रहता है। हार्ट अटैक के कारण अस्पताल में भर्ती 65 साल या उससे ज्यादा उम्र के 50 हजार मरीजों पर अध्ययन करने के बाद इन चीजों को समझा गया है. इस रिपोर्ट के अनुसार, पहले हार्ट अटैक के 5 साल के अंदर मौत, हार्ट फेलियर या स्ट्रो का रिस्क 47त्न पाया गया है, जबकि पुरुषों में यह करीब 36त्न तक हो सकता है।
महिलाओं-पुरुषों में हार्ट अटैक के लक्षण
रिसर्चर का मानना है कि महिला और पुरुष में हार्ट अटैक के लक्षण अलग-अलग हो सकते हैं। हार्ट अटैक का सबसे सामान्य लक्षण सीने में दर्द है. पुरुषों में यह लक्षण ज्यादा देखने को मिलता है। हार्ट अटैक वाली 50 प्रतिशत महिलाओं में ही यह परेशानी देखी गई है।
पुरुषों में हार्ट अटैक के लक्षण
- सीने में दर्द या बेचैनी
- सांस लेने में दिक्कत
- बाएं हाथ-जबड़े में दर्द
- जी मिचलाना
महिलाओं में हार्ट अटैक के लक्षण
- महिलाओं ने पीठ गर्दन या जबड़े में दर्द
- सीने में जलन-बेचैनी
- चक्कर आने, जी मिचलाने की समस्या
- सांस लेने में परेशानी और पसीना आने की समस्या